अब नहीं आती फिर से वो…| Ziwan par kavita

By Ranjan Gupta

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Ziwan par kavita
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अब नहीं आती फिर से वो…

अब नहीं आती फिर से, वो रात सुहानी यादों वाली
स्ती हंसाती खुशियां भरती आंखों में उन्मादों वाली
वो जिक्र, वो फिक्र, हर पल तेरा होने वाली
आंखे चुपचाप बरसती, सावन भादों वाली
 
मन के हर कोने में एक इंतजार दोहराने वाली
ताका झांकी और न दिखती घबराई आंखों वाली
शांत गलियां मन हैरान उदासी खिसकाने वाली
अब नहीं आती फिर से वो रात सुहानी यादों वाली
 
जगह जगह के पोस्टर हाथ हवा में लहराने वाली
सितम ढा रही दुनियां को एक रोज सीढियां दिखाने वाली
यादों के पन्नों को खोलकर अपने तक ही सिमटने वाली
अब नहीं आती फिर से वो रात सुहानी यादों वाली
 
कोना अनवरत अभिव्यक्ति आधी रात सुनाने वाली
चुपचाप के झूठ पर भीं जबरजस्ती रूठकर हंसाने वाली 
मजेदार है सबकुछ इतना कह बहलाने वाली
काली जुल्फ़ों के तान अरग पर हरदम खुशी दिखाने वाली
अब नहीं आती फिर से वो रात सुहानी यादों वाली

Ranjan Gupta

मैं इस वेबसाइट का ऑनर हूं। कविताएं मेरे शौक का एक हिस्सा है जिसे मैनें 2019 में शुरुआत की थी। अब यह उससे काफी बढ़कर है। आपका सहयोग हमें हमेशा मजबूती देता आया है। गुजारिश है कि इसे बनाए रखे।

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